पाकिस्तान ने दोबारा शुरू हुई शांति प्रक्रिया के महत्व का सकारात्मक संकेत देते हुए हेलीकॉप्टर को स्वदेश लौटने की अनुमति दे दी।
भारतीय सेना के चीता हेलीकॉप्टर पर चार अधिकारी सवार थे। यह रविवार शाम छह बजे जम्मू एवं कश्मीर के कारगिल में उतर गया। दोनों देशों के विदेश विभागों और सेना के बीच हुई तत्काल वार्ता के बाद हेलीकॉप्टर को सुरक्षित स्वदेश वापसी संभव हो पाई जिससे एक विवाद टल गया।
भारतीय सेना के सहायक जनसम्पर्क अधिकारी वीरेंद्र सिंह ने आईएएनएस को बताया कि हेलीकॉप्टर सुरक्षित भारत में उतर गया।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता विष्णु प्रकाश ने कहा, “हमारे अधिकारी और हेलीकॉप्टर वापस लौट आए इससे हमें राहत मिली है। इस मसले को लेकर पाकिस्तान ने जिस तरह से कार्य किया है हम उसकी प्रशंसा करते हैं। “
उन्होंने कहा कि इस्लामाबाद स्थित भारतीय उच्चायोग लगातार पाकिस्तानी अधिकारियों के सम्पर्क में था। यह पांच घंटे तक चला।
दोनों के बीच इस मसले के त्वरित समाधान से विश्वास बहाली सकारत्मक संकेत मिलता है। उल्लेखनीय है कि मुम्बई में हुए 26/11 हमले के बाद दोनों देशों के बीच समग्र वार्ता अवरुद्ध हो गई थी।
इससे पहले पहले भारतीय सैन्य अधिकारियों ने कहा था कि चालक की गलती के कारण हेलीकॉप्टर नियंत्रण रेखा (एलओसी) के पार चला गया।
हेलीकॉप्टर में दो चालकों और एक जूनियर कमीशंड ऑफीसर (जेसीओ) सहित तीन अधिकारी तथा एक इंजीनियर सवार थे।
हेलीकॉप्टर ने कश्मीर के लद्दाख क्षेत्र के लेह से उड़ान भरी थी और यह सेना के एक हेलीकॉप्टर की मदद के लिए कारगिल के निकट द्रास सेक्टर के भीमबेट जा रहा था। कारगिल नियंत्रण रेखा से लगा हुआ है। यहां थल सेना के एक हेलीकॉप्टर में कुछ तकनीकी गड़बड़ी हो गई थी।
पहले नियंत्रण रेखा के पार गए हेलीकॉप्टर को गलती से चेतक हेलीकॉप्टर बताया गया था।
पाकिस्तानी अधिकारियों ने कहा कि देश की वायुसीमा का उल्लंघन करने के आरोप में हेलीकॉप्टर को स्कार्दू सेक्टर में जबरन उतारा गया। स्कार्दू भी नियंत्रण रेखा के समीप है।
पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता मेजर जनरल अतहर अब्बास ने इस्लामाबाद में कहा, “हेलीकॉप्टर हमारी वायुसीमा में काफी अंदर तक चला आया था। इसे उतरने पर मजबूर किया गया। भारतीेय सेना के चारों अधिकारियों को सुरक्षित हिरासत में ले लिया गया है। सभी सुरक्षित हैं।”
पाकिस्तानी अधिकारियों ने भारत की इस बात को मान लिया कि पाकिस्तानी वायुसीमा का उल्लंघन खराब मौसम के कारण हुआ था।
इस मुद्दे के समाधान के लिए सैन्य कार्रवाई के महानिदेशक (डीजीएमए) भी हेलीकॉप्टर व उसमें सवार यात्रियों की रिहाई के लिए पाकिस्तानी समकक्ष से सम्पर्क में थे।