आडवाणी ने अपनी ‘जन चेतना यात्रा’ के 11वें दिन में प्रवेश करने से पहले कहा, “प्रधानमंत्री कहते हैं कि उन्हें इस बात से चोट लगती है, क्योंकि मैं उन्हें जवाहरलाल नेहरू के समय से लेकर अबतक का सबसे कमजोर प्रधानमंत्री कहता हूं। लेकिन मैंने जो कहा है वह एक राजनीतिक बयान है। इसमें कोई कठोरता नहीं है।”
आडवाणी ने कहा, “यदि गलत को गलत कहना अनुचित है, तो मैं अपना दोष स्वीकार करता हूं। लेकिन यह मैं नहीं कह रहा हूं। सर्वोच्च न्यायालय ने कहा है कि यदि प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने समय पर सक्रियता दिखाई होती तो 2जी घोटाले को घटने से और सरकारी खजाने को 1.76 लाख करोड़ रुपये का नुकसान होने से रोका जा सकता था।”
आडवाणी ने मीडिया में आई उन खबरों पर टिप्पणी करने से इंकार कर दिया, जिनमें कहा गया है कि सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे की प्रमुख सहयोगी और भारतीय पुलिस सेवा की पूर्व अधिकारी किरण बेदी गैर सरकारी संगठनों और अन्य संस्थानों से संगोष्ठियों व बैठकों में हिस्सा लेने के लिए भारीभरकम यात्रा खर्च वसूलती हैं।
आडवाणी ने कहा, “मैं किरण बेदी के बारे में टिप्पणी नहीं करना चाहता।”